दिवाली के मौके पर खूब मिठाइयां बांटी जाती हैं और लोग मिठाइयां खाते ही हैं लेकिन क्या आपको पता है कि कुछ मिठाइयां स्वास्थ्य के लिए खतरनाक भी हो सकती है, जिसके बारे में इस लेख में बताने वाले हैं। दिवाली पर मिठाई का महत्व सांस्कृतिक, धार्मिक और सामाजिक सभी दृष्टिकोणों से गहरा जुड़ा हुआ है। दिवाली, जिसे प्रकाश का पर्व कहा जाता है, खुशियों, समृद्धि और सकारात्मकता का प्रतीक है, और मिठाइयां इस खुशी और प्रेम के इज़हार का सबसे खास हिस्सा मानी जाती हैं। मिठाइयां खुशी और उत्सव का प्रतीक मानी जाती हैं। दिवाली पर अपने रिश्तेदारों, मित्रों और पड़ोसियों को मिठाई बांटना एक पारंपरिक प्रथा है। इसे रिश्तों को मीठा बनाने के एक प्रतीक के रूप में भी देखा जाता है, जो परिवार और दोस्तों के बीच प्यार और सहयोग को बढ़ावा देता है। लेकिन दिवाली के मौके पर बाजार में कई तरह की मिठाइयां बिकती हैं, लेकिन इनमें से कुछ मिठाइयां मिलावट और अत्यधिक शक्कर व कैलोरी के कारण सेहत के लिए हानिकारक हो सकती हैं। इन मिठाइयों में मिलावट की संभावना अधिक होती है, जिससे स्वास्थ्य पर बुरा असर पड़ सकता है। यहां पांच मिठाइयों का उल्लेख किया गया है जो दिवाली पर सबसे खतरनाक मानी जाती हैं और जानिए क्यों इनसे सावधान रहना चाहिए।
मावे की मिठाइयां (Mawa-based Sweets)
मावे की मिठाइयां जैसे कि बर्फी, पेड़ा, खोये की मिठाइयां आदि दिवाली के समय अधिक बिकती हैं। इनमें मिलावटी मावा या सिंथेटिक मावा का इस्तेमाल किया जाता है, जो सेहत के लिए हानिकारक हो सकता है। मिलावटी मावा पेट की समस्याओं से लेकर खाद्य विषाक्तता तक का कारण बन सकता है। अगर आप इस मावे से बनी मिठाई खाते हैं तो आपको भी दस्त व कब्ज जैसी बीमारियां होने का खतरा बढ़ सकता है।
चॉकलेट और कोटेड मिठाइयां (Chocolate-coated Sweets)
चॉकलेट से कवर की गई मिठाइयां या चॉकलेट फ्लेवर मिठाइयां देखने में आकर्षक लगती हैं, लेकिन इनमें अत्यधिक शक्कर, कृत्रिम रंग और फ्लेवर मिलाए जा सकते हैं। ये पदार्थ बच्चों और वयस्कों दोनों के लिए हानिकारक हो सकते हैं, क्योंकि ये वजन बढ़ाने के साथ ही ब्लड शुगर लेवल को भी प्रभावित कर सकते हैं।
चमचम और रसगुल्ले (Chum Chum and Rasgulla)
रसगुल्ले और चमचम जैसी मिठाइयों में सिरप में डूबी हुई होती हैं और इनमें शक्कर की मात्रा बहुत ज्यादा होती है। इन मिठाइयों का अधिक सेवन डायबिटीज, मोटापा और दांतों की समस्या का कारण बन सकता है। इसके अलावा, इन मिठाइयों में कई बार कृत्रिम रंगों का उपयोग भी किया जाता है, जो स्वास्थ्य के लिए हानिकारक होते हैं।
सिल्वर वर्क वाली मिठाइयां (Sweets with Silver Foil)
मिठाइयों पर लगाई जाने वाली चांदी की वर्क की गुणवत्ता पर भी सवाल उठाए जाते हैं। कई बार वर्क में असली चांदी का इस्तेमाल नहीं होता और उसमें हानिकारक धातुओं का उपयोग किया जाता है, जो शरीर के लिए विषाक्त हो सकता है। इससे लीवर और किडनी को नुकसान पहुंच सकता है।
लड्डू और जलेबी (Laddu and Jalebi)
लड्डू और जलेबी जैसी मिठाइयां अत्यधिक तेल और शक्कर से भरपूर होती हैं। त्योहार के समय इनका सेवन अधिक मात्रा में किया जाता है, जो वजन बढ़ने के साथ ही कोलेस्ट्रॉल और ब्लड शुगर लेवल को भी बढ़ा सकता है। यह खासकर उन लोगों के लिए हानिकारक है, जिन्हें पहले से दिल की समस्या या डायबिटीज है। सावधानी बरतें
- घर पर बनी मिठाइयां साफ-सुथरी और सुरक्षित होती हैं।
- मिठाइयों का सेवन सीमित मात्रा में करें।
- पैकेज्ड मिठाइयों पर सामग्री और एक्सपायरी डेट ज़रूर देखें।
- स्थानीय मिठाइयों में मिलावट की संभावना अधिक होती है, इसलिए प्रतिष्ठित जगह से ही खरीदें। त्योहार का आनंद जरूर लें, लेकिन सेहत का ध्यान रखते हुए मिठाइयों का सेवन करें।
- घर पर बनी मिठाइयां साफ-सुथरी और सुरक्षित होती हैं।
- मिठाइयों का सेवन सीमित मात्रा में करें।
- पैकेज्ड मिठाइयों पर सामग्री और एक्सपायरी डेट ज़रूर देखें।
- स्थानीय मिठाइयों में मिलावट की संभावना अधिक होती है, इसलिए प्रतिष्ठित जगह से ही खरीदें। त्योहार का आनंद जरूर लें, लेकिन सेहत का ध्यान रखते हुए मिठाइयों का सेवन करें।